मिलेगी शांति मान ले रहेगी सदा पास तेरे अगर तू ठान ले शांति को पहचान ले। मिलेगी शांति मान ले रहेगी सदा पास तेरे अगर तू ठान ले शांति को पहचान ले।
जब कभी मस्तिष्क में छिड़ जाता है भीषण संग्राम, तब धैर्य, संयम, साहस रखना मनुष्य का है जब कभी मस्तिष्क में छिड़ जाता है भीषण संग्राम, तब धैर्य, संयम, साहस रखना...
जीवन की द्रुत मंझधार में, हिलोरें लेते उफनते ज्वार में, जीवन की द्रुत मंझधार में, हिलोरें लेते उफनते ज्वार में,
फैल रहा है भ्रष्टाचार हो रहा व्यभिचार कितने रावण अभी जिंदा हैं। फैल रहा है भ्रष्टाचार हो रहा व्यभिचार कितने रावण अभी जिंदा हैं।
दिल मे जज़्बात की परछाइयों की बस्ती है, सुर्ख होठों पर मचलते हुये मौसम की तरह। एक छू दिल मे जज़्बात की परछाइयों की बस्ती है, सुर्ख होठों पर मचलते हुये मौसम की तरह...